जनरल असीम मलिक पाकिस्तान की खुफिया एजेंसी ISI के नये प्रमुख

इस्लामाबाद : लेफ्टिनेंट जनरल मुहम्मद असीम मलिक पाकिस्तान की खुफिया एजेंसी इंटर-सर्विसेज इंटेलिजेंस (ISI) का नया चीफ नियुक्त किया गया है। सरकारी टेलीविजन ने सोमवार को यह घोषणा की। लेफ्टिनेंट जनरल मलिक फिलहाल रावलपिंडी स्थित सैन्य मुख्यालय में सहायक जनरल के रूप में कार्यरत हैं। वह 30 सितंबर को अपना नया कार्यभार संभालेंगे और मौजूदा डीजी लेफ्टिनेंट जनरल नदीम अंजुम की जगह लेंगे। आईएसआई प्रमुख की नियुक्ति प्रधानमंत्री की ओर से की जाती है। हालांकि, परंपरा तो यह है कि वह सेना प्रमुख के परामर्श से इस शक्ति का प्रयोग करते हैं।
ISI चीफ का पद पाकिस्तानी सेना में सबसे महत्वपूर्ण पदों में से एक माना जाता है, जिसने देश के 77 से अधिक वर्षों के अस्तित्व में आधे से अधिक समय तक शासन किया है। साथ ही, सुरक्षा और विदेश नीति के मामलों में खुफिया एजेंसी ने अब तक काफी शक्ति का प्रयोग किया है। लेफ्टिनेंट जनरल मलिक बलूचिस्तान में इन्फैंट्री डिवीजन और वजीरिस्तान में इन्फैंट्री ब्रिगेड की कमान संभाल चुके हैं। उन्हें अपने सिलेबस में ‘स्वोर्ड ऑफ ऑनर’ भी मिला है। उन्होंने नेशनल डिफेंस यूनिवर्सिटी (NDU) में मुख्य प्रशिक्षक के साथ-साथ कमांड एंड स्टाफ कॉलेज क्वेटा में ट्रेनर के रूप में काम किया है।
लेफ्टिनेंट जनरल मुहम्मद असीम मलिक की नियुक्ति पाकिस्तान की गुप्तचर एजेंसी के लिए एक महत्वपूर्ण समय पर हुई है, जो घरेलू और अंतरराष्ट्रीय सुरक्षा अभियानों दोनों में अहम भूमिका निभाती है। लेफ्टिनेंट जनरल नदीम अंजुम को पूर्व प्रधानमंत्री इमरान खान ने 2021 में डीजी ISI के रूप में नियुक्त किया था। रिपोर्ट के मुताबिक, असीम मलिक पाकिस्तानी सेना प्रमुख असीम मुनीर के करीबी माने जात हैं। अब उनका रिटायरमेंट भी मुनीर के साथ ही होगा। असीम मुनीर का कार्यकाल नवंबर, 2025 तक रहेगा। पता चला है कि अपने ही पूर्व सीनियर साथी लेफ्टिनेंट जनरल फैज अहमद को कोर्ट मार्शल करने का फैसला जिस कानूनी शाखा ने लिया, असीम मलिक उसके प्रभारी थे। उन्होंने ही इस केस में पूरी फाइल तैयार की और उन पर मुकदमा चलाने की इजाजत दी थी।

Related Posts

About The Author