*CORONA फिर बढ़ाने वाला है टेंशन, जानिए खतरा बढ़ा, डरना चाहिए या नहीं?
केरल: कोरोना को लेकर एक बार फिर पूरी दुनिया अलर्ट मोड पर आ गई है। वर्तमान में कोविड-19 के सब-वेरिएंट जेएन.1 के कई मामले सामने आ चुके हैं। चिंता की बात यह है कि केरल में भी 8 दिसंबर को इसका एक मामला सामने आया है। जेएन.1 वेरिएंट के सबसे ज्यादा मामले सिंगापुर में सामने आए हैं। इसलिए प्रशासन ने हर स्तर पर जांच बढ़ा दी है।केरल में कोरोना के लक्षण सामने आने पर लोगों को टेस्ट कराने की गाइडलाइन जारी की गई है।
केरल में सामने आया पहला मामला – बता दें कि केरल में 79 वर्षीय महिला के सैंपल की 18 नवंबर को आरटीपीसीआर जांच की गई थी। जिसका रिजल्ट पॉजिटिव आया था। महिला में इन्फ्लूएंजा जैसी बीमारियों (आईएलआई) के हल्के लक्षण थे और वह कोविड-19 से उबर चुकी है। सूत्रों ने बताया कि देश में कोविड-19 के वर्तमान में 90 प्रतिशत से अधिक मामले गंभीर नहीं हैं और संक्रमित लोग अपने घरों में ही पृथक-वास में रह रहे हैं। इससे पहले, सिंगापुर में एक भारतीय यात्री में जेएन.1 संक्रमण का पता चला था।यह व्यक्ति तमिलनाडु के तिरुचिरापल्ली जिले का मूल निवासी है और उसने 25 अक्टूबर को सिंगापुर की यात्रा की थी।
तिरुचिरापल्ली जिले या तमिलनाडु के अन्य स्थानों में जेएन.1 से संक्रमण के मामले सामने आने के बावजूद मामलों में वृद्धि दर्ज नहीं हुई। सूत्र ने कहा, “भारत में जेएन.1 स्वरूप का कोई अन्य मामला सामने नहीं आया है।” कोविड-19 के उप-स्वरूप जेएन.1 की पहचान पहली बार लक्जमबर्ग में की गई थी। कई देशों फैला यह संक्रमण पिरोलो स्वरूप (बीए.2.86) से संबंधित है।
सिंगापुर में लोगों से मास्क लगाने की अपील- सिंगापुर में कोविड-19 के मामले लगातार बढ़ रहे हैं, ऐसे में देश के स्वास्थ्य मंत्रालय ने लोगों से भीड़-भाड़ वाले स्थानों पर मास्क लगाने की अपील की है। मंत्रालय ने शुक्रवार को कहा कि तीन से नौ दिसंबर तक कोविड-19 के मामले बढ़कर 56,043 हो गए, जो पिछले सप्ताह 32,035 थे, इस प्रकार से संक्रमण के मामले 75 प्रतिशत बढ़े हैं। चैनल न्यूज एशिया की एक खबर के अनुसार संक्रमण से अस्पताल में भर्ती होने वालों की औसत दैनिक संख्या 225 से बढ़कर 350 हो गई।गहन देखभाल इकाई में औसत दैनिक मामले चार से बढ़कर नौ हो गए हैं।
कोविड को लेकर अलर्ट जारी- संक्रमण के इन मामलों में अधिकतर मामले जेएन.1 वैरिएंट के हैं जो बीए.2.86 का सबलीनिएज (उपवंश) है। मंत्रालय ने लोगों से व्यक्तिगत तथा सामाजिक जिम्मेदारियों का निर्वहन करने की अपील की और कहा कि जिन लोगों में श्वसन से जुड़े संक्रमण के लक्षण हैं वे घरों से बाहर नहीं निकलें और लोगों के संपर्क में नहीं आएं। मंत्रालय ने साथ ही कहा कि यात्रा कर रहे लोगों को हवाई अड्डों पर मास्क लगाना चाहिए, यात्रा बीमा कराना चाहिए और उन स्थानों पर आने जाने से बचना चाहिए जहां हवा आने-जाने की उचित व्यवस्था नहीं हो।