नई दिल्ली : मालदीव में चीन की बढ़ती उपस्थिति ने भारत को नई चुनौतियों का सामना करना पड़ा है। मालदीव के नए प्रधानमंत्री मोहम्मद मुइज्जु की सरकार ने चीन के साथ तेजी से संबंध बनाए रखने का प्रयास किया है, जिससे भारत के लिए रक्षा और रणनीतिक चुनौतियाँ बढ़ गई हैं। चीन ने मालदीव को सैन्य सहायता, बुनियादी ढांचे के निर्माण, और रक्षा समझौते की पेशकश की है। इसके अलावा, चीन ने मालदीव के सेना को प्रशिक्षण देने और हथियार प्रदान करने का भी आश्वासन दिया है। इस समझौते के बाद, मालदीव में भारतीय सैनिकों को वापस लौटाने का निर्णय लिया गया है। चीन के इस प्रभाव के मद्देनजर, भारत को मालदीव के रक्षा और सुरक्षा में नई रणनीतियाँ विकसित करने की जरूरत है।