मोरबी नगर पालिका ने कोर्ट में माना पुल नहीं खुलना चाहिए था, हादसे की जिम्मेदारी ली

मोरबी में पुल गिरने से हुए हादसे, जिसमें 140 से ज्यादा लोगों की मौत हो गयी थी, को लेकर गुजरात उच्च न्यायालय के आदेश पर मोरबी नगर पालिका ने गुरुवार को दायर किये अपने जवाब में यह गलती स्वीकार की है कि पल नहीं खोला जाना चाहिए था। नगरपालिका ने हादसे की जिम्मेदारी भी मान ली है।

गुजरात उच्च न्यायालय में दिए अपने हलफनामे में मोरबी नगरपालिका की तरफ से यह बातें कही गई हैं। इसके बाद गुजरात उच्च न्यायालय ने नगरपालिका के प्रमुख को सुनवाई की अगली तारीख 24 नवंबर को उच्च न्यायालय में उपस्थित होने का निर्देश दिया है।

बता दें बुधवार को उच्च न्यायलय ने नगरपालिका को जवाब में डेरी के लिए लताड़ लगाई थी और शाम तक जवाब दायर करने का निर्देश दिया था। आज की सुनवाई में मुख्य न्यायाधीश ने कहा कि मोरबी नगरपालिका के प्रमुख को बुलाओ, सीधे उनसे सुनना चाहते हैं। संदीप सिंह जाला को 24 नवंबर को अदालत में पेश होने का नोटिस दिया गया है।

याद रहे 30 अक्टूबर को मोरबी में पुल गिरने से 140 से अधिक लोगों की मौत के मामले में गुजरात उच्च न्यायालय ने बुधवार को कल दो नोटिसों के बावजूद स्टेटस रिपोर्ट दाखिल करने में देरी को लेकर मोरबी नगरपालिका को चेतावनी दी थी।

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